मंगलवार, 9 मई 2017

chathi bhom que-ans

श्री रंगमहल में तीजी भोम की पड़साल में खड़ी हैं रूह ,सखियों के संग 
आप श्री राज श्यामा जी के संग वन विहार को चलना है 
तो दिल में लेते ही सुखपाल हाजिर हो जाते हैं और पड़साल से लग जाते हैं 
तो यह पड़साल कहाँ से आते हैं ?
उनका निवास स्थान कहाँ हैं 🙏

यह सुखपाल आते है रंगमहल की छट्ठी भूमिका से



🌹जब बड़ी रांग,माणिक मोहोल में धाम धनि संग जाते हैं और दिल में इच्छा होती हैं कि आज तो एक संग असवारी कर चले तो क्या हाजिर होता हैं सेवा में  ❓


छट्ठी भोम के 28 थंभ के चौक से तखतरवा हाजिर होता है जिसमे धनि के साथ हम रूहे एक साथ सवारी करते हे

🌹तीजी भोम की पड़साल से लग नूरी सुखपाल हाजिर हैं ,दो दो सखियाँ सुखपालों पर असवार होती हैं तो इन सुखपालों के चार नूरी पायों पर कितने डांडे आएं हैं ❓

चारो पायो पर एक एक डांडे कुल चार डांडे 


🌹सुखपाल पर सुन्दर नूरी बैठक आयीं हैं वह किस तरह से आयीं हैं ❓


यह बैठके आमने सामने आयी है जिसपर गादी और उपर मखमली सी गिलम बिछाई हुई हे और दाएं बाए हाथो से पकड़ने के लिए छोटा कथेडे जैसा हेंडल या गजगाह की शोभा आयी हुई हे



🌹सुखपाल की नूरी छतरी पर दो गुमत आएं हैं जिन पर कलश ध्वजा की शोभा हैं छह और कलश आएं हैं वह किस स्थान पर शोभित हैं ❓


छत्री के किनार के ऊपर तीन कलश सामने और तीन कलश पीछे आएं हैं 


🌹तख्तरवा के कितने पहल आये हैं ❓


18-18 हाथ  की दुरी पर एक एक पहल ऐसे 16 पहल आये है


🌹तख्तरवा छठी भोम में किन स्थान पर निवास करता हैं ❓


छठ्ठी भोम के 28 थंभ के चौक में बड़ी अदा से तखतरवा श्री राज श्यामाजी और सखियो की राह देखते हुई अति आनंद में खड़ा रहता हैं 

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